संभागायुक्त श्री माल सिंह की पहल पर इंदौर के प्रतिष्ठित निजी/सरकारी अस्पतालों के विशेषज्ञ डॉक्टरों ने पाटी पहुंचकर किया ग्रामीणों का नि:शुल्क उपचार

इंदौर संभागायुक्त श्री मालसिंह की पहल पर इंदौर संभाग के दूरस्थ अंचलों में ग्रामीणों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिये नि:शुल्क स्वास्थ्य शिविर आयोजित करने का सिलसिला प्रारंभ किया गया है। इसी सिलसिले में आज संभाग के दूरस्थ पाटी गाँव में विशाल नि:शुल्क स्वास्थ्य शिविर लगाया गया। इस शिविर में ग्रामीणों को एक ही छत के नीचे एक ही जगह प्रायवेट अस्पतालों जैसी अनेक स्वास्थ्य सुविधाएं मिली। शिविर में इंदौर के प्रतिष्ठित निजी एवं सरकारी अस्पतालों के विशेषज्ञ डॉक्टरों ने पाटी पहुंचकर ग्रामीणों का नि:शुल्क स्वास्थ्य परीक्षण कर उपचार किया। संभागायुक्त स्वयं इस शिविर में उपस्थित रहे।

शिविर में विभिन्न रोगों के विशेषज्ञ डॉक्टरों ने  मरीजों एवं स्वास्थ्य शिविर में आने वालों की जाँच की एवं उनका उपचार किया।  स्वास्थ्य संबंधित चिकित्सा परामर्श भी दिया। शिविर में आने वाले मरीजों के लिये पंजीयन हेतु 25 काउंटर की व्यवस्था की गई थी। वहीं रिसेप्शन, सैम्पल लेने, जांच, दवाई वितरण, पेयजल, परामर्श आदि के काउंटर भी बनाये गये थे। शिविर में आने वाले मरीजो के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु सोनोग्राफी निःशुल्क की गई। साथ ही सिकलसेल एनीमिया, एएनसी, शिविर में आने वाले मरीजो के लिये मेडिकल बोर्ड की भी व्यवस्था रखी गई।  शिविर में सभी प्रकार की पैथोलॉजिकल और अन्य जाँचे पूरी तरह निःशुल्क की गई।

इस शिविर में महात्मा गांधी मेमोरियल मेडिकल कालेज इन्दौर के विशेषज्ञ गेस्ट्रोइन्ट्रोलाजिस्ट, अस्थि रोग विशेषज्ञ, नेत्र रोग विशेषज्ञ, मेडिसिन विशेषज्ञ, शिशु रोग विशेषज्ञ, नाक, कान, गला रोग विशेषज्ञ, स्त्री रोग विशेषज्ञ, शल्य रोग विशेषज्ञ रेडियोलाजिस्ट तथा चर्म रोग विशेषज्ञ मौजूद थे। इसी प्रकार चोइथराम नेत्रालय, इंडेक्स मेडिकल अस्पताल, वर्मा यूनियन अस्पताल, अरविन्दो अस्पताल, केयर सीएचएल अस्पताल, शैल्बी अस्पताल के विशेषज्ञ चिकित्सकों ने भी ग्रामीणों का इलाज किया। इसी प्रकार आयुर्वेदिक विशेषज्ञ, होम्योपैथी विशेषज्ञ एवं नेचुरोथैरेपी विशेषज्ञ डॉक्टरों ने भी अपनी सेवाएं दी।

संभागायुक्त श्री मालसिंह ने कहा कि इंदौर संभाग के दूरस्थ अंचलों में विशेषज्ञ चिकित्सकों को पहुंचाकर ग्रामीणों के इलाज की सुविधा के लिये शिविर आयोजन का सिलसिला प्रारंभ किया गया है। इससे ग्रामीणों को स्थानीय स्तर पर ही बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिलेंगी। अनेक जाँचे भी स्थानीय स्तर पर ही हो रही हैं। ग्रामीणों को अब भटकना नहीं पड़ रहा है। उन्होंने ग्रामीणों को यह भी समझाया कि ग्रामीणजन किसी भी बीमारी का सम्पूर्ण ईलाज लें। इलाज बीच में नहीं छोड़ें। समय-समय पर डॉक्टर को दिखायें एवं उनकी सलाह अनुसार ही दवाईयां लें। बीमारी होने पर घबराये एवं छुपाये नहीं, विज्ञान की प्रगति से आज के समय में हर बीमारी का उपचार संभव है।

इस दौरान शिविर में उपस्थित पूर्व कैबिनेट मंत्री श्री प्रेमसिंह पटेल ने भी ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि जनजातीय समाज में एक गंभीर बीमारी सिकलसेल एनीमिया पाई जाती है। जनजातीय समाज के लोग अनिवार्य रूप से शिविर स्थल पर अपना सिकलसेल टेस्ट जरूर करायें। गर्भवती माता सिकलसेल पाजिटिव है तो उसे अपने बच्चे के जन्म के साथ ही बच्चे का सिकलसेल टेस्ट कराना चाहिए। अगर बच्चा भी पाजिटिव आता है तो बच्चे के खान-पान का विशेष ध्यान रखना चाहिए। क्योंकि सही उपचार एवं उचित खान-पान से इस बीमारी पर बहुत हद तक नियंत्रण पाया जा सकता है। वहीं आयुर्वेद एवं होम्यौपैथी में इस बीमारी का ईलाज संभव है।

Source – PRO